Kitni Sardi Pad Gayee (With Jhankar Beats)

कितनी सर्दी पड़ गई, कितनी सर्दी पड़ गई
घबराके मैं सैयाँ तेरे कँबल में आ गई
घबराके मैं सैयाँ तेरे कँबल में आ गई

कितनी सर्दी पड़ गई, कितनी सर्दी पड़ गई
अरे, तू कँबल में आयी, मुझको राहत मिल गई
ओए, तू कँबल में आयी, मुझको राहत मिल गई

ठंडी हवा के झोंकों से काँटें मेरे तन में चुबे
बाँहों में अपनी ऐसे ही थामे रहेंगे हम तो तुम्हें

तन-बदन में जैसे गर्मी एक पल में आ गई
घबराके मैं सैयाँ तेरे कँबल में आ गई
घबराके मैं सैयाँ तेरे कँबल में आ गई

कितनी सर्दी पड़ गई, कितनी सर्दी पड़ गई
Hey, तू कँबल में आयी, मुझको राहत मिल गई
ओए, तू कँबल में आयी, मुझको राहत मिल गई

प्यार से ऐसे देखो ना, कोई खता ना हो जाए
हम भी करे क्या, जब कोई खुद ही निशाना हो जाए

मुझको जीना आ गया जो तेरी चाहत मिल गई
तू कँबल में आयी, मुझको राहत मिल गई
ओए, तू कँबल में आयी, मुझको राहत मिल गई

कितनी सर्दी पड़ गई, कितनी सर्दी पड़ गई
घबराके मैं सैयाँ तेरे कँबल में आ गई
घबराके मैं सैयाँ तेरे कँबल में आ गई

कितनी सर्दी पड़ गई, कितनी सर्दी पड़ गई
अरे, तू कँबल में आयी, मुझको राहत मिल गई
ओए, तू कँबल में आयी, मुझको राहत मिल गई



Credits
Writer(s): Ravindra Rawal, Ram Laxman
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