Woh Aankh Hi Kya (Sonu Nigam)

हो, वो आँख ही क्या, तेरी सूरत नहीं जिसमें
वो दिल ही क्या, तेरी चाहत नहीं जिसमें

वो आँख ही क्या, तेरी सूरत नहीं जिसमें
वो दिल ही क्या, तेरी चाहत नहीं जिसमें
वो दिल ही क्या, तेरी चाहत नहीं जिसमें
हो, वो आँख ही क्या, तेरी सूरत नहीं जिसमें
वो दिल ही क्या, तेरी चाहत नहीं जिसमें

ज़ख़्मों से भरे दिल में तेरा प्यार रहेगा
दुनिया से मेरे दर्द का अफ़साना कहेगा

बेदर्दों से उम्मीद-ए-वफ़ा की नहीं जाती
ये ज़ख़्म है वो, जिसकी दवा की नहीं जाती
बेदर्दों से उम्मीद-ए-वफ़ा की नहीं जाती
ये ज़ख़्म है वो, जिसकी दवा की नहीं जाती
ये ज़ख़्म है वो, जिसकी दवा की नहीं जाती

हो, वो प्यार ही क्या, तेरा दर्द नहीं जिसमें
वो आँख ही क्या, तेरी सूरत नहीं जिसमें
वो दिल ही क्या, तेरी चाहत नहीं जिसमें
वो आँख ही क्या, तेरी सूरत नहीं जिसमें

ख़ुद अपना जनाज़ा लिए हम फिरते रहेंगे
लेकिन तुझे जीने की दुआ देते रहेंगे

मर जाऊँ जो मैं तो मेरी मय्यत में ना आना
तू मेरे जनाज़े को भी काँधा ना लगाना
मर जाऊँ जो मैं तो मेरी मय्यत में ना आना
तू मेरे जनाज़े को भी काँधा ना लगाना
तू मेरे जनाज़े को भी काँधा ना लगाना

हो, वो मिलन ही क्या, जुदाई नहीं जिसमें
वो आँख ही क्या, तेरी सूरत नहीं जिसमें
वो दिल ही क्या, तेरी चाहत नहीं जिसमें
हो, वो आँख ही क्या, तेरी सूरत नहीं जिसमें
वो दिल ही क्या, तेरी चाहत नहीं जिसमें



Credits
Writer(s): Anu Malik, Zameer Kazmi
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