Ek Tha Dil (From "Ek Tha Dil Ek Thi Dhadkan")

एक था दिल, इक थी धड़कन, ये किनारा, वो लहर
एक था दिल, इक थी धड़कन, ये किनारा, वो लहर
ये सँवेरा प्यार का था, हुस्न की वो दोपहर
तुमने कभी क्या है सुनी उन दोनों की दास्ताँ?

एक था दिल, इक थी धड़कन, ये किनारा, वो लहर
ये सँवेरा प्यार का था, हुस्न की वो दोपहर
हाँ, तुमने कभी क्या है सुनी उन दोनों की दास्ताँ?

दो मोहब्बत के मारे, झील किनारे
प्यार के चांदनी में नहाते, हँसते, खेलते, मुस्कुराते
नहीं जानते थे कि ज़िंदगी क्या दिखाने वाली है
बस अगले ही मोड़ पर बिछड़ने की घड़ी आनेवाली है
और फिर यूँ हुआ

ग़म के नगर में खो गया जीवन
टूट गया दिल, डूबी ये धड़कन
सागर से भी ज़्यादा गहरी थी उनकी तनहाइयाँ

दिल और धड़कन दूर हो गए, मजबूर हो गए
कि ज़िंदगी आजमाती है, हँस के रुलाती है
लेकिन दिन बीते और वो फिर मिलें
मगर ख़ुशियों के फूल नहीं खिलें

क्यूँकि वो जान नहीं पाए, वो मान नहीं पाए
दिल और धड़कन मिलें तो पर अफ़सोस
एक-दूसरे को पहचान नहीं पाए, पर अब ये हाल है

मरना है आसाँ, जीना है मुश्किल
पाके भी जैसे पाई ना मंज़िल
समझाऊँ क्या? कैसे लूटा ख़ाबों का वो कारवाँ?

एक था दिल, इक थी धड़कन, ये किनारा, वो लहर
ये सँवेरा प्यार का था, हुस्न की वो दोपहर
तुमने कभी क्या है सुनी उन दोनों की दास्ताँ?



Credits
Writer(s): Javed Akhtar, Anand Raj Anand
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