Shaapit Hua

भूलेंगे ना ये पल जब अपने प्यार का बीता कल

शापित हुआ

क्या-क्या होता है चाहत की अंजानी सी राहों में
देखा हमने जाकर ख़ुद अपनी मौत की गुफ़ाओं में
खतरा-खतरा चिल्लाती है अँधकार की हर दीवार
आया आशिक़ शापित करने सुन कर आशिक़ का इज़हार

शापित हुआ तेरे प्यार में
शापित हुआ इक़रार में
शापित हुआ तेरे प्यार में
शापित हुआ इक़रार में

सोची, हो गया प्यार
पहना गई वो मौत का हार, और मैं...

शापित हुआ

सोचने की ये बात है, जिसमें ना जिस्म है ना जान है
उस निर्जीव के जिवित श्राप ने छीने मेरे प्राण हैं
ना समझे वो प्रेम ना, प्रेमियों की जुदाई का एहसास
हर महबूब और महबूबा के घड़कते दिल की भूख और प्यास

शापित हुआ तेरे प्यार में
शापित हुआ इक़रार में
शापित हुआ तेरे प्यार में
शापित हुआ इक़रार में

सोची, हो गया प्यार
पहना गई वो मौत का हार, और मैं...

शापित हुआ

तेरे प्यार की जोत मुझे इस अँधकार से बचाएगी
वो निर्जीव भी तेरे हाथों से ही मुक्ति पाएगी
आएगा वो पल जब ख़ुशियाँ चीखेंगी, चिल्लाएँगी
मेरे पास तेरे सपनों की राजकुमारी आएगी

बाँहों में बाँहें, हाथों में हाथ
चाहूँ बस तेरा ही साथ हर दिन, हर हात

भूलेंगे ना ये पल जब अपने प्यार का बीता कल

शापित हुआ
शापित हुआ
शापित हुआ
शापित हुआ



Credits
Writer(s): Aditya Narayan
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