Zindagi Guzarne Ko Saathi

ज़िंदगी गुज़ारने को साथी एक चाहिए
हुस्न 'गर नहीं, शराब ही सही

ज़िंदगी गुज़ारने को साथी एक चाहिए
हुस्न 'गर नहीं, शराब ही सही
हुस्न 'गर नहीं, शराब ही सही

जब से वो गए हैं, अपनी ज़िंदगी में
एक नया दौर आ गया है

जब से वो गए हैं, अपनी ज़िंदगी में
एक नया दौर आ गया है
उनसे कह दो, अपने दिल में उनसे भी
हसीन कोई और आ गया है

ज़र के आगे सर झुका के हुस्न बेवफ़ा हुआ
आज कोई हमसफ़र नहीं रहा तो क्या हुआ?
मेरे हमसफ़र, जनाब ही सही
मेरे हमसफ़र, जनाब ही सही

ज़िंदगी गुज़ारने को साथी एक चाहिए
हुस्न 'गर नहीं, शराब ही सही
हुस्न 'गर नहीं, शराब ही सही

इश्क़ और वफ़ा का सिर्फ़ नाम है
जहाँ में काम कुछ भी नहीं है

इश्क़ और वफ़ा का सिर्फ़ नाम है
जहाँ में काम कुछ भी नहीं है
दिल की चाहे कितनी अज़मतें गिनाओ
दिल का दाम कुछ भी नहीं है

आज मैंने तय किया है हर तिलिस्म तोड़ना
एक नए रास्ते पे ज़िंदगी को मोड़ना
अब ये फ़ैसला ख़राब ही सही
अब ये फ़ैसला ख़राब ही सही

ज़िंदगी गुज़ारने को साथी एक चाहिए
हुस्न 'गर नहीं, शराब...



Credits
Writer(s): Ravi, Ludiavani Sahir
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