Oonche Neeche Pahadon

ऊँचे-नीचे पर्वतों के साए में है गाँव
हरे-भरे पेड़ हैं और घनी-घनी छाँव
ऊँचे-नीचे पर्वतों के साए में है गाँव
हरे-भरे पेड़ हैं और घनी-घनी छाँव
है यही दुनिया मेरी, जो पहाड़ों से घिरी
रस्ता देखे तेरा, पिया

(ऊँचे-नीचे पर्वतों के साए में है गाँव)
(हरे-भरे पेड़ हैं और घनी-घनी छाँव)
है यही दुनिया मेरी, जो पहाड़ों से घिरी
रस्ता देखे तेरा, पिया
ऊँचे-नीचे पर्वतों के साए में है गाँव
झरनों में चाँदी सा पानी
गुनगुनाए कोई धुन सुहानी
झरनों में चाँदी सा पानी
गुनगुनाए कोई धुन सुहानी

तू है राही दूर का
आके दो पल यहाँ ठहर जा

तू जो आएगा यहाँ, चैन पाएगा यहाँ
लग जाएगा यहाँ तेरा जिया

ऊँचे-नीचे पर्वतों के साए में है गाँव
हरे-भरे पेड़ हैं और घनी-घनी छाँव
है यही दुनिया मेरी, जो पहाड़ों से घिरी
रस्ता देखे तेरा, पिया
ऊँचे-नीचे पर्वतों के साए में है गाँव
हैरान हूँ, मैं परदेसी
मैंने देखी नहीं थी बस्ती ऐसी
हैरान हूँ, मैं परदेसी
मैंने देखी नहीं थी बस्ती ऐसी

खिल गई दिल की कली
महकी-महकी सी है ज़िंदगी

तुझे मेरी है क़सम, यहीं तू रह जा, सनम
भूल जाएगा तू, ग़म होता है क्या

ऊँचे-नीचे पर्वतों के साए में है गाँव
हरे-भरे पेड़ हैं और घनी-घनी छाँव
ऊँचे-नीचे पर्वतों के साए में है गाँव
हरे-भरे पेड़ हैं और घनी-घनी छाँव
है यही दुनिया मेरी, जो पहाड़ों से घिरी
रस्ता देखे तेरा, पिया

ऊँचे-नीचे पर्वतों के साए में है गाँव
हरे-भरे पेड़ हैं और घनी-घनी छाँव
ऊँचे-नीचे पर्वतों के साए में है गाँव
ला-ला-ला-ला-ला-ला-ला-ला-ला-ला-ला-ला-ला



Credits
Writer(s): Javed Akhtar, Jatin Lalit
Lyrics powered by www.musixmatch.com

Link