Bawara Mann

बावरा मन राह ताके तरसे, रे
नैना भी मल्हार बन के बरसे, रे
बावरा मन राह ताके तरसे, रे
नैना भी मल्हार बन के बरसे, रे

आधे से, अधूरे से बिन तेरे हम हुए
फीका लगे है मुझको सारा जहाँ
बावरा मन राह ताके तरसे, रे
नैना भी मल्हार बन के बरसे, रे

ये कैसी खुशी है जो मोम सी है?
आँखों के रस्ते, हँस के पिघलने लगी
मन्नत के धागे ऐसे है बाँधे
टूटे ना रिश्ता जुड़ के तुझसे कभी
टूटे ना रिश्ता जुड़ के तुझसे कभी

१०० बलाएँ ले गया तू सर से, रे
नैना ये मल्हार बन के बरसे, रे

मैं कागज़ की कश्ती, तू बारिश का पानी
ऐसा है तुझसे अब ये रिश्ता मेरा
तू है तो मैं हूँ, तू आए तो बह लूँ
आधी है दुनिया मेरी तेरे बिना
आधी है दुनिया मेरी तेरे बिना

जी उठी, १०० बार तुझपे मर के, रे
नैना ये मल्हार बन के बरसे, रे

बावरा मन राह ताके तरसे, रे
नैना ये मल्हार बन के बरसे, रे



Credits
Writer(s): Junaid Wasi, Chirantan Bhatt
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