Tu Hi Bata Zindagi

तू ही बता ज़िंदगी, जो भी हुआ क्यूँ हुआ?

खोई है क्यूँ हर ख़ुशी, किसकी लगी बद्दुआ
तू ही बता ज़िंदगी, जो भी हुआ क्यूँ हुआ?
खोई है क्यूँ हर ख़ुशी, किसकी लगी बद्दुआ

किसे-किसे जवाब दूँ? बुझा-बुझा ये दिल है क्यूँ
क्या मैं कहूँ, बिखरा क्यूँ सपना मेरा
तू ही बता ज़िंदगी, जो भी हुआ क्यूँ हुआ?

फीके-फीके दिन, काली रातें
आँसुओं के जैसी बरसातें
फीके-फीके दिन, काली रातें
आँसुओं के जैसी बरसातें

पूछे मुझसे जो दिल की बातें

क्या मैं कहूँ, दर्द क्यूँ दिल को मिला?
तू ही बता ज़िंदगी, जो भी हुआ क्यूँ हुआ?

सूना-सूना सा है अब ये मन
डूबी-डूबी सी है अब धड़कन
सुना-सुना सा है अब ये मन
डूबी-डूबी सी है अब धड़कन

जाऊँ कहाँ, अब है यही उलझन

क्या मैं कहूँ, खोया क्यूँ रस्ता मेरा
तू ही बता ज़िंदगी जो भी हुआ क्यूँ हुआ?
खोई है क्यूँ हर ख़ुशी, किसकी लगी बद्दुआ

किसे-किसे जवाब दूँ, बुझा-बुझा ये दिल है क्यूँ?
क्या मैं कहूँ, बिखरा क्यूँ सपना मेरा?
तू ही बता ज़िंदगी, जो भी हुआ क्यूँ हुआ?



Credits
Writer(s): Javed Akhtar
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