Phir Usse Mila

फिर उससे मिले जिसकी ख़ातिर
बदनाम हुए बदनाम हुए
फिर उससे मिले जिसकी ख़ातिर
बदनाम हुए बदनाम हुए
थे ख़ास बहुत अब तक 'आली'
अब आम हुए बदनाम हुए
फिर उससे मिले जिसकी ख़ातिर
बदनाम हुए बदनाम हुए

दो लम्हे चाँदनी रातों के
दो लम्हे चाँदनी रातों के
दो लम्हे प्यार की बातों के
इल्ज़ाम हुए बदनाम हुए
फिर उससे मिले जिसकी ख़ातिर
बदनाम हुए बदनाम हुए

यूँ तो न गई वाँ कोई ख़बर
यूँ तो न गई वाँ कोई ख़बर
पर आहों के ख़ामोश असर
पैगाम हुए बदनाम हुए
फिर उससे मिले जिसकी ख़ातिर
बदनाम हुए बदनाम हुए

यूँ तो न दिए कुछ सुख हमको
यूँ तो न दिए कुछ सुख हमको
पर उनसे जो पहुँचे दुख हमको
इनआम हुए बदनाम हुए
फिर उससे मिले जिसकी ख़ातिर
बदनाम हुए बदनाम हुए

जब होने लगे ये हाल अपने
जब होने लगे ये हाल अपने
सब रोशन साफ़ ख़याल अपने
इबहाम हुए बदनाम हुए
फिर उससे मिले जिसकी ख़ातिर
बदनाम हुए बदनाम हुए
थे ख़ास बहुत अब तक 'आली'
अब आम हुए बदनाम हुए
फिर उससे मिले जिसकी ख़ातिर
बदनाम हुए बदनाम हुए



Credits
Writer(s): Ghulam Ali, Jamiluddin Ali
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