Dil Mein Jigar Main

दिल में, जिगर में, नज़र में बसा के जाओगे अब कहाँ?
यहीं लौट के आना होगा तुमको, ओ, मेरे मेहरबाँ
यहीं लौट के आना होगा तुमको, ओ, मेरे मेहरबाँ

कहीं दूर फैली जो ख़ुशबू फ़िज़ाओं में
उड़ गया मेरा ये आँचल हवाओं में

बहती, ये लहराती मौजों के संग जाओगे अब कहाँ?
यहीं लौट के आना होगा तुमको, ओ, मेरे मेहरबाँ
यहीं लौट के आना होगा तुमको, ओ, मेरे मेहरबाँ

बस गई तेरी भोली सी सूरत नज़ारों में
तब से बैठी मैं नज़रें लिए तेरी राहों में

इस प्यार की तन्हा राहों से तुम जाओगे अब कहाँ?
यहीं लौट के आना होगा तुमको, ओ, मेरे मेहरबाँ
यहीं लौट के आना होगा तुमको, ओ, मेरे मेहरबाँ

वादियाँ मेरी चाहत की हर पल गवाही दें
हर तरफ़ मेरे चाहत के नग़्मे सुनाई दें

चाहत के मेरे ये नग़्मों के संग जाओगे अब कहाँ?
यहीं लौट के आना होगा तुमको, ओ, मेरे मेहरबाँ
यहीं लौट के आना होगा तुमको, ओ, मेरे मेहरबाँ



Credits
Writer(s): Vaibhav Pandit
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