Tum Chahe Humko Pasand Na Karo

तुम चाहे हम को पसंद ना करो
पर तुम हम को पसंद हो, पसंद हो
पर तुम हम को पसंद हो

छलिया जो १००-१०० रूप बदले
वो हमें कैसे पसंद हो? पसंद हो
वो हमें कैसे पसंद हो?

छाँव जैसे बादल की, धूप जैसे सावन की
वैसे ना जाने किस पल तुम बदलो
बात जैसे सपने की, रंग जैसे मौसम का
वैसे ना जाने किस पल तुम बदलो

दीवाने को क्यूँ तड़पाना?
तुम जो हमें दिल से पसंद कर लो
अपनी तो क़िस्मत बुलंद हो, बुलंद हो
अपनी तो क़िस्मत बुलंद हो

छलिया जो १००-१०० रूप बदले
वो हमें कैसे पसंद हो? पसंद हो
वो हमें कैसे पसंद हो?

बिन सोचे दिल खो के, प्यार में पागल हो के
तुम इन बहारों में कभी खोई नहीं
ये बहारें बोलेंगी, भेद दिल के खोलेंगी
दिल में तुम्हारे सिवा तो कोई नहीं

लाख मनाया, दिल ना माना
हम कैसे तुम को पसंद ना करे?
जब तुम दिल को पसंद हो, पसंद हो
हाँ, तुम दिल को पसंद हो

हाँ, तुम हम को पसंद हो, पसंद हो
हाँ, तुम हम को पसंद हो



Credits
Writer(s): Laxmikant Pyarelal, Anjaan
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