Huyi Shaam Unka Khayal Aa Gaya (Revival)

हुई शाम उनका ख़याल आ गया
वही ज़िंदगी का सवाल आ गया
हुई शाम उनका ख़याल आ गया

अभी तक तो होंठों पे था, तबस्सुम का एक सिलसिला
बहुत शादमाँ थे हम उनको भूला कर, अचानक ये क्या हो गया
के चहरे पे रंग-ए-मलाल आ गया
हुई शाम उनका ख़याल आ गया

हमें तो यही था ग़ुरूर, ग़म-ए-यार है हमसे दूर
वही ग़म जिसे हमने किस-किस जतन से, निकाला था इस दिल से दूर
वो चलकर क़यामत की चाल आ गया
हुई शाम उनका ख़याल आ गया
वही ज़िंदगी का सवाल आ गया
हुई शाम उनका ख़याल आ गया



Credits
Writer(s): Majrooh Sultanpuri, Laxmikant-pyarelal
Lyrics powered by www.musixmatch.com

Link