Na Jao Saiyan Chhuda Ke Baiyan

ना जाओ सैयाँ, छुड़ा के बैयाँ
क़सम तुम्हारी, मैं रो पड़ूँगी, रो पड़ूँगी
मचल रहा है सुहाग मेरा
जो तुम ना होगे तो क्या करूँगी? क्या करूँगी?

ना जाओ सैयाँ, छुड़ा के बैयाँ
क़सम तुम्हारी, मैं रो पड़ूँगी, रो पड़ूँगी

ये बिख़री ज़ुल्फ़ें, ये खिलता कजरा
ये महकी चुनरी, ये मन की मदिरा
ये बिख़री ज़ुल्फ़ें, ये खिलता कजरा
ये महकी चुनरी, ये मन की मदिरा

ये सब तुम्हारे लिए है, प्रीतम
मैं आज तुमको ना जाने दूँगी, जाने ना दूँगी

ना जाओ सैयाँ, छुड़ा के बैयाँ
क़सम तुम्हारी, मैं रो पड़ूँगी, रो पड़ूँगी

मैं तुम्हरी दासी, जनम की प्यासी
तुम ही हो मेरा सिंगार, प्रीतम
मैं तुम्हरी दासी, जनम की प्यासी
तुम ही हो मेरा सिंगार, प्रीतम

तुम्हारे रस्ते की धूल लेकर
मैं माँग अपनी सदा भरूँगी, सदा भरूँगी

ना जाओ सैयाँ, छुड़ा के बैयाँ
क़सम तुम्हारी, मैं रो पड़ूँगी, रो पड़ूँगी

जो मुझसे अँखियाँ चुरा रहे हो
तो मेरी इतनी अरज भी सुन लो
जो मुझसे अँखियाँ चुरा रहे हो
तो मेरी इतनी अरज भी सुन लो
पिया, मेरी ये अरज भी सुन लो

तुम्हारे चरणों में आ गई हूँ
यहीं जियूँगी, यहीं मरूँगी, यहीं मरूँगी



Credits
Writer(s): Badayuni
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