Idhar To Haath La Pyare

इधर तो हाथ ला, प्यारे
दिखाऊँ दिन को भी तारे
लिखा है क्या लकीरों में
फ़क़ीरों से सुन जा रे

इधर तो हाथ ला, प्यारे
दिखाऊँ दिन को भी तारे
लिखा है क्या लकीरों में
फ़क़ीरों से सुन जा रे
इधर तो हाथ ला, प्यारे

लिखा है, तुझको तो किसी से उल्फ़त है
मगर उस ज़ालिम को तुझी से नफ़रत है
वो चाहें औरों को, ये तेरी क़िस्मत है
ये ज़ालिम प्यार दिखलाता है क्या-क्या नज़ारे

इधर तो हाथ ला, प्यारे
दिखाऊँ दिन को भी तारे
लिखा है क्या लकीरों में
फ़क़ीरों से सुन जा रे
इधर तो हाथ ला, प्यारे

लकीरें कहती हैं ये तेरे हाथों में
कि तेरा मन उलझा है ऐसी बातों में
कि सोना मुश्किल है तुझे अब रातों में
ये तेरे भेद खोले हैं लकीरों ने सारे

इधर तो हाथ ला, प्यारे
दिखाऊँ दिन को भी तारे
लिखा है क्या लकीरों में
फ़क़ीरों से सुन जा रे
इधर तो हाथ ला, प्यारे

किया है जो तूने, वही पाएगा तू
बुरी होगी, बेटा, जो छिपाएगा तू
फ़क़ीरों से बच के कहाँ जाएगा तू?
तेरी क़िस्मत की चाबी है मेरे हाथों, प्यारे

इधर तो हाथ ला, प्यारे
दिखाऊँ दिन को भी तारे
लिखा है क्या लकीरों में
फ़क़ीरों से सुन जा रे

इधर तो हाथ ला, प्यारे
दिखाऊँ दिन को भी तारे
लिखा है क्या लकीरों में
फ़क़ीरों से सुन जा रे
इधर तो हाथ ला, प्यारे



Credits
Writer(s): Majrooh Sultanpuri, Madan Mohan
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