Kya Kahoon Aaj Kya Baat Hai

क्या कहूँ आज क्या बात है
क्या कहूँ आज क्या बात है
कि चलते-चलते चाँदनी
क्यूँ मेरे चेहरे पे रुकी जाती है

बात जो मैं नहीं कह सकी
बात जो मैं नहीं कह सकी
वो ही कहने को आज शमा भी
पतंगे पे झुकी जाती है

क्या कहूँ आज क्या बात है
क्या कहूँ आज क्या बात है

बहका रही हैं बहकती हवाएँ
कि झोंकों में है बेख़ुदी जाम की
ख़ुशबू सी है प्यार के नाम की

बहका रही हैं बहकती हवाएँ
कि झोंकों में है बेख़ुदी जाम की
ख़ुशबू सी है प्यार के नाम की

कि धीरे-धीरे ये ख़ुशबू
मेरे तन-मन में बसी जाती है
क्या कहूँ आज क्या बात है
क्या कहूँ आज क्या बात है

जाने ना कोई ये राज़-ए-मोहब्बत
कि नादाँ है दिल, प्यार मासूम है
ये शाम-ए-अरमाँ को मालूम है

जाने ना कोई ये राज़-ए-मोहब्बत
कि नादाँ है दिल, प्यार मासूम है
ये शाम-ए-अरमाँ को मालूम है

कि शाम-ए-अरमाँ लेके उन्हें
मेरी ज़ुल्फ़ों में छुपी जाती है
क्या कहूँ आज क्या बात है
क्या कहूँ आज क्या बात है



Credits
Writer(s): Kudalkar Laxmikant, Majrooh Sultanpuri, Pyarelal Lakshmikant
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